नई दिल्ली। गुजरात के स्वास्थ्य मंत्री ऋषिकेश पटेल ने बताया कि राज्य में पिछले पांच दिनों में संदिग्ध चांदीपुरा वायरस (Chandipura Virus) से छह बच्चों की मौत हो गई है. इस वायरस से संक्रमण का खतरा लगातार बढ़ रहा है, और अब तक 12 लोग इसकी चपेट में आ गए हैं. स्वास्थ्य मंत्री ने कहा, इन 12 मरीजों में से चार साबरकांठा जिले से, तीन अरावली से और एक-एक महिसागर तथा खेड़ा से हैं।.दो मरीज राजस्थान और एक मध्य प्रदेश से है. इनका उपचार गुजरात में हुआ.
उन्होंने कहा, छह में से पांच मौत साबरकांठा जिले के हिम्मतनगर के सिविल अस्पताल में हुईं. साबरकांठा के आठ समेत सभी 12 नमूनों को पुष्टि के लिए पुणे के राष्ट्रीय विषाणु विज्ञान संस्थान (एनआईवी) भेजा गया है. टेस्ट रिपोर्ट आने के बाद ही यह स्पष्ट हो पाएगा कि ये मौत चांदीपुरा वायरस के कारण हुई हैं या नहीं.
वायरस को फैलने से रोकने के लिए 24 घंटे चल रहा काम
हिम्मतनगर के सिविल अस्पताल के बाल रोग विशेषज्ञों ने 10 जुलाई को चार बच्चों की मौत का कारण ‘चांदीपुरा वायरस’ होने का संदेह जताया था. विशेषज्ञों ने वायरस की पुष्टि के लिए उनके नमूने एनआईवी भेजे थे. बाद में अस्पताल में चार और नए बच्चों में चांदीपुरा वायरस जैसे ही लक्षण दिखे.
गुजरात स्वास्थ्य मंत्री ने कहा, चांदीपुरा वायरस संक्रामक नहीं है लेकिन प्रभावित क्षेत्रों में गहन निगरानी की गई है. हमने 4,487 घरों में 18,646 लोगों की जांच की है. स्वास्थ्य विभाग बीमारी को फैलने से रोकने के लिए चौबीस घंटे काम कर रहा है.
क्या है चांदीपुरा वायरस
चांदीपुरा वायरस रैबडोविरिडे फैमिली के वेसिकुलोवायरस जीनस का एक मेंबर है. यह मच्छरों, टिक्स और सैंडफ़्लाइज के जरिए फैलता है. यह वायरस 9 महीने से 14 साल की उम्र के बच्चों में को अपना शिकार बनाता है. चांदीपुरा वायरस के लक्ष्ण में तेज बुखार आना, दौरे पड़ना, उलटी-दस्त, दिमाग में सूजन शामिल है. समय रहते इन लक्ष्णों पर अगर ध्यान न दिया जाए तो यह मौत का कारण बन सकता है.